रुड़की पहुंचे मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने जीवनदीप आश्रम में आयोजित पंच दिवसीय महोत्सव कार्यक्रम में प्रतिभाग किया। इस दौरान उन्होंने पदम् विभूषित शंकराचार्य स्वामी सत्यमित्रानंद गिरी सभागार का लोकार्पण किया। इस दौरान मुख्यमंत्री ने स्वामी यतींद्रानंद द्वारा लिखित पुस्तक का विमोचन किया। सुनहरा स्थित नन्द विहार कॉलोनी में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा राष्ट्र निर्माण के लिए संतो का आशीर्वाद और सहयोग जरूरी है। उन्होंने कहा कि जीवनदीप आश्रम सेवा न्यास पिछले कई वर्षों से मानव उत्थान के लिए कार्य कर रहा हैं। उन्होंने कहा कि इस आश्रम के प्रत्येक आयोजन में अध्यात्म और समाजसेवा का समन्वय दिखाई देता है। उन्होंने कहा कि आश्रम में जहां शतचंडी यज्ञ का आयोजन हो रहा है तो वहीं पांच कन्याओं का विवाह किया जा रहा है। कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सनातन संस्कृति की पताका संपूर्ण विश्व में फैल रही है, उन्ही के दिशा निर्देशन में हमारी सरकार विश्व में देहरादून को आध्यात्मिक राजधानी के रूप में स्थापित कर रही है।

हमारी सरकार देव भूमि उत्तराखंड के डेमोग्राफी और सांस्कृतिक मूल्यों को सुरक्षित रखने के लिए संकल्पित होकर काम कर रही है, इसके लिए हमारी सरकार में कई नए कानून की लागू किये है, जिहादी मानसिकताओं के थूक जिहाद, लव जिहाद, लैंड जिहाद सभी के विरुद्ध हमारी सरकार द्वारा कारवाही की गई है, व 10 हज़ार से ज्यादा की भूमि को लैंड जिहादियों के हाथ से मुक्त कराया है। उन्होंने कहा कि सरकार सभी नागरिकों के अधिकारों को सुनिश्चित करते हुए समान नागरिक संहिता लागू की है युवाओं के भविष्य के साथ खिलवाड़ करने वालों पर अंकुश लगाने के लिए हमने प्रदेश में सख़्त नकल विरोधी कानून लागू किया है, जिसके परिणाम स्वरूप राज्य में 26 हज़ार युवाओं को रोजगार प्रदान किया गया है तथा राज्य में कुछ लोगो द्वारा मदरसों के नाम पर बच्चो को बरगलाने का काम किया जा रहा था जिस पर हमने करवाही करते हुए ढाई सौ मदरसों को बंद करने का काम किया है, व मदरसा बोर्ड के विरुद्ध करवाही कर नया कानून लागू करके मदरसा बोर्ड को समाप्त करने का काम भी सरकार ने किया है, प्रदेश में वेश बदल कर सनातन धर्म को बदनाम करने का कार्य करने वालो के विरुद्ध ऑपरेशन कालनेमि चलाकर उन पर अंकुश लगाने का काम भी हमारी सरकार ने किया है।
वर्ष 2027 में कुंभ के आयोजन को दिव्य और भव्य बनाने के लिए हमारी सरकार निरंतर प्रयासरत है, जिसके लिए युद्ध स्तर पर संतो के मार्गदर्शन में कार्य आरंभ कर दिए गए है। उन्होंने कहा कि वह सभी प्रदेशवासियों को यह विश्वास दिलाना चाहते हैं कि हम पूज्य संतो के आशीर्वाद से एक श्रेष्ठ उत्तराखंड का निर्माण करने जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि शहीद द्वार का भी लोकार्पण हुआ जो कि आने वाली पीढ़ी को शहीदों के बलिदान को याद दिलवाएगा। उन्होंने सुनहरा आने वाले मार्ग के चौराहे (ईदगाह चौक) का नाम शहीद चौक करने की घोषणा की। इसके साथ ही मुख्यमंत्री ने सरकार द्वारा पास किए कानूनों और लैंड जिहाद आदि पर की गई कारवाई के बारे में बताया।
