स्थानीय अखाड़े की मदद से पाकिस्तान का हिंदू परिवार चित्रकूट आ गया। एलआईयू और एसआईयू पाकिस्तानी परिवारों की छानबीन में जुटीं हैं। इनके पास मूल कागजात नहीं मिले हैं। दिल्ली से कागज मंगाकर मिलान किया जा रहा है। हिंदू परिवारों ने पड़ोसी मुल्क के हालात बयां किए हैं। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान में बेतहा
पाकिस्तानी से संग्रामपुर आए दो हिंदू परिवारों ने पड़ोसी मुल्क के जो हालात बयां किए वह आश्चर्य में डालने वाले हैं। पीड़ित परिवारों के लोगों ने बताया कि पाकिस्तान में उन्हें प्रताड़ित किया जाता है। वहां की महंगाई और बेरोजगारी से त्रस्त होकर भारत आए हैं। हमें यहां रहने की इजाजत दी जाए दूसरे दिन लोकल इंटेलीजेंस यूनिट (एलआईयू) और स्पेशल इंटेलीजेंस यूनिट (एसआईयू) की जांच में पता चला कि स्थानीय अखाड़े की मदद से पाकिस्तानी से दो हिंदू परिवार संग्रामपुर पहुंचे। एसआईयू लखनऊ के एक अधिकारी ने स्थानीय अधिकारियों के साथ इनसे पूछताछ कर उनके कागजातों की जांच की। इनके पास कोई मूल कागजात नहीं मिले। दिल्ली में मौजूद इनके अन्य परिजनों से कागजात मंगाए गए। सभी को पुलिस ने सुरक्षा में लेकर पंचायत भवन में ठहराया है। जिला मुख्यालय कर्वी से लगभग 20 किमी दूर स्थित सीतापुर चौकी के संग्रामपुर गांव का समाजसेवी कमलेश पटेल शुक्रवार को दिल्ली से पाकिस्तान के दो हिंदू परिवारों को अपने घर लाया था। एसपी वृंदा शुक्ला ने निर्देश पर समाजसेवी के घर पर ताला लगा दिया। पाकिस्तानियों को गांव के पंचायत भवन में रखा गया है। इनकी निगरानी के लिए 15 महिला और पुरुष पुलिसकर्मियों की डयूटी लगाई गई है। किसी को इस परिवार से मिलने की अनुमति नहीं है।ग्राम प्रधान ममता और उनके पति को इनके भोजन आदि का इंतजाम करने के लिए कहा गया है। शनिवार को खुफिया एजेंसी के अधिकारी और अन्य पुलिस अधिकारी सुबह से दोपहर तक पाकिस्तानियों से पूछताछ की। उनके पास मिले कागजातों की जांच की और दिल्ली व लखनऊ स्थित कार्यालय रिपोर्ट भेजते रहे।पूछताछ में पता चला कि स्थानीय कुछ अखाड़ों की मदद से यह परिवार दिल्ली से चित्रकूट लाया गया। यह परिवार पाकिस्तान से दो टुकड़ों में आया। पहले सात सदस्य अक्टूबर 2022 में और फिर आठ सदस्य मई 2023 में कराची से दिल्ली आए हैं। इनके वीजे की अवधि खत्म हो रही है। इसे बढ़ाने का आवेदन किया है। इनके सभी मूल कागजात दिल्ली से मंगा लिए गए हैं। इनका मिलान किया रहा है।पाकिस्तान से दो परिवारों के 15 सदस्य शुक्रवार को ट्रेन से स्थानीय अखाड़ाें की मदद से चित्रकूट आए हैं। इनमें से कई लोगों की वीजा अवधि खत्म हो गई है और कुछ की खत्म होने वाली है। इनके पास मूल कागज नहीं हैं। गहन छानबीन व पूछताछ की जा रही है। तब तक इन्हें पंचायत भवन में सुरक्षा के बीच ठहराया गया है। इन्हें लाने वाले कमलेश पटेल के बारे में भी जांच की जा रही है। –
